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द लिटरेरी सोसायटी ऑफ इंडिया जयपुर

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द लिटरेरी सोसायटी ऑफ इंडिया जयपुर चैप्टर के तत्वावधान में 24फरवरी की शाम को राजापार्क स्थित “पिंक #कैफे” में “मिलिये लेखक से” कार्यक्रम की श्रंखला में कवयित्री, लेखिका, प्राध्यापक एवं ग़ज़लगो रेणु हुसैन के काव्य संग्रह “घर की औरतें और चांद “ एवं कहानी संग्रह “गुंटी” पर चर्चा अयोजित की गई ।

संस्था अध्यक्ष रिज़वान एजाज़ी ने अतिथियों का स्वागत किया।
कार्यक्रम की मुख्य अतिथि रेनू हुसैन ने अपनी साहित्यिक यात्रा का जिक्र करते हुए
कविता ‘घर की औरतें और चाँद’ में घरेलु और कामकाजी महिलाओं की संवेदनाओं को संजीदगी से प्रस्तुत करने का प्रयास किया है ।साथ ही एक कवि का कथा संग्रह बेहद संवेदनशील और तरल भाषा से भरा गूंटी पर बोलते हुए रेणु हुसैन ने कहा,” इस संकलन को लिखते हुए मुझे बार बार उन संवेदनाओं और गलियों से गुजरना पड़ा जो भौतिकवादी समय में छूटती जा रहीं।

इस संग्रह में गैनु है,ग्रामों की स्त्रियां हैं तो वहीं मां भी हैं । पक्षी की संवेदना के माध्यम से बहुत बड़ी फलक की कहानी है गुणटी यह बात आलोचक और
मुख्य वक्ता डॉ संदीप अवस्थी ने कही। एक अद्भुत दुनिया से दो चार कराती हैं रेणु हुसैन का लेखन।
कोलकाता से आईं डॉ अनिता ठाकुर ने अपने वक्तव्य में बताया कि ये सिर्फ प्रेम कविताएं नहीं हैं, बल्कि आधी आबादी यानी स्त्रियों के व्यापक सपनों और संघर्ष की कविताएं हैं।

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हर लड़की, स्त्री जो सपने देखती हैं और उसे हासिल करने में अपनी जिंदगी खपा देती हैं, कई बार उनके घरौंदे बनते हैं और कई बार टूट जाते हैं। ये स्त्रियों के व्यापक अनुभवों का प्रतिबिंब प्रस्तुत करने वाली कविताएं हैं। इस प्रेम में सिर्फ मिलन नहीं, बल्कि मिलन ,वियोग, राग, मुक्ति सब कुछ है।
सुप्रसिद्ध नाट्यकर्मी एवं लेखिका कवयित्री रमा पाण्डे ने अपनी कविताओं से श्रोताओं को मंत्रमुग्ध कर दिया ।
कार्यक्रम में जयपुर के प्रमुख साहित्यकार , कविगण प्रेसकर्मी ,गणमान्य जन की उपस्थिति रही।
कार्यक्रम का संचालन संस्था सचिव डॉ रत्ना शर्मा ने किया एवं दिनेश चौधरी ने धन्यवाद ज्ञापित किया